नयी दिल्ली। कांग्रेस ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर वैश्विक महामारी के दौरान जनता की आवाज दबाने और मीडिया को ब्लैकमेल करने की साजिश रचने का आरोप लगाया है। कांग्रेस की प्रवक्ता सुप्रिया श्रीनेत ने पीएम मोदी पर हमला बोलते कहा,“वर्ष 2020 में जब पूरा देश महामारी से जूझ रहा था, जब जान पर बनी हुई थी, रोज़गार पर ख़तरा मंडरा रहा था तब आपको क्या लगता है मोदी जी क्या कर रहे थे?”
क्या वह आपके जीवन और जीवनयापन की चिंता कर रहे थे? नहीं। वह एक बड़ा षड्यंत्र रच रहे थे, सच को छुपाने का, जनता की आवाज़ को दबाने का, मीडिया को ब्लैकमेल करने का, पत्रकारों की कलम पर क़ब्ज़ा करके उनसे अपना महिमामंडन कराने का।
इसके साथ ही श्रीनेत ने कहा कि सरकारी संचार रिपोर्ट के सार्वजनिक होने से इस बड़ी साज़िश का खुलासा हुआ है। इस समूह के सदस्य पांच कैबिनेट मंत्री (स्मृति ईरानी, रविशंकर प्रसाद, प्रकाश जावेड़कर, जयशंकर, मुख़्तार अब्बास नकवी) और चार राज्यमंत्री (हरदीप पुरी, किरण रिजिजु, अनुराग ठाकुर, बाबुल सुप्रियो) थे। इस समूह का एकमात्र लक्ष्य सरकार और उसकी नीतियों पर सवाल पूछने वालों का दमन करना था।
दिक़्क़त की बात तो यह भी है कि अभी कुछ दिनों पहले आए सूचना प्रौद्योगिकी नियम ,2021 जिसमें ओटीटी प्लेट्फ़ोर्म और डिजिटल मीडिया को नियंत्रित करने वाले क़ानून हैं, वह इसी रिपोर्ट के सुझावों के आधार पर बनाए गए हैं। इससे बड़ी परेशानी यह भी है कि मीडिया के कुछ साथियों ने सरकार को मीडिया पर ही नियंत्रण रखने के लिए सुझाव दिया।
उन्होंने कहा कि इस समूह ने कोरोना काल के दौरान छह बैठकें कीं। इनका उद्देश्य सकारात्मक सुर्ख़ियां और खबरों को सरकार के पक्ष में लाना था। इस समूह ने मीडिया के विशेषज्ञ, वरिष्ठ पत्रकारों और समाज के कुछ और ज़िम्मेदार नागरिकों से मंत्रणा की।
Copyright @ 2020 All Right Reserved | Powred by Softfix Technologies OPC Pvt. Ltd